Sona Chandi Bhav : खरमास की शुरुआत के साथ ही सोने और चांदी की कीमतों में स्थिरता देखने को मिली है. मंगलवार 17 दिसंबर को उत्तर प्रदेश के वाराणसी के सर्राफा बाजार में सोने की कीमतों में कोई बदलाव नहीं हुआ. वहीं चांदी की कीमत में मामूली 100 रुपये प्रति किलो की गिरावट दर्ज की गई. इस ठहराव के पीछे मुख्य कारण खरमास का समय और वेडिंग सीजन का समापन बताया जा रहा है, जिससे खरीदारी की गति थोड़ी धीमी पड़ी है.
24 कैरेट और 22 कैरेट सोने के ताजा भाव sona chandi bhav
सोने की कीमतों की बात करें तो मंगलवार को बाजार में 24 कैरेट सोना 78,040 रुपये प्रति 10 ग्राम के भाव पर स्थिर रहा. गौरतलब है कि 16 दिसंबर को भी यही कीमत थी. इसके अलावा 22 कैरेट सोने की कीमत भी 71,550 रुपये प्रति 10 ग्राम दर्ज की गई, जिसमें कोई बदलाव नहीं हुआ.
18 कैरेट सोने का क्या है भाव?
18 कैरेट सोने की कीमत भी मंगलवार को स्थिर रही. इसका भाव 58,540 रुपये प्रति 10 ग्राम दर्ज किया गया. सोना खरीदते समय उसकी शुद्धता का विशेष ध्यान रखना चाहिए. 24 कैरेट सोना सबसे शुद्ध माना जाता है, लेकिन इसका उपयोग आभूषण बनाने में कम होता है. वहीं 18 कैरेट और 22 कैरेट सोने का उपयोग आभूषणों के निर्माण में ज्यादा होता है.
सोना खरीदते समय हॉलमार्क जरूर देखना चाहिए. हॉलमार्क सोने की शुद्धता की गारंटी देता है और यह सुनिश्चित करता है कि खरीदा गया सोना सही गुणवत्ता का है.
चांदी की कीमतों में मामूली गिरावट
सोने के मुकाबले चांदी की कीमतों में हल्की गिरावट दर्ज की गई. मंगलवार को चांदी का भाव 92,400 रुपये प्रति किलो रहा, जो सोमवार 16 दिसंबर को 92,500 रुपये प्रति किलो था. इस तरह चांदी में 100 रुपये प्रति किलो की कमी आई है.
सर्राफा बाजार के जानकारों के अनुसार खरमास के दौरान शादी-विवाह जैसे आयोजनों में कमी आती है, जिससे चांदी की मांग घट जाती है. यही वजह है कि चांदी की कीमतों में मामूली गिरावट देखने को मिल रही है.
खरीदारी का सही समय
वाराणसी सर्राफा एसोसिएशन के अध्यक्ष संतोष कुमार अग्रवाल का कहना है कि खरमास के चलते बाजार में स्थिरता बनी हुई है. शादी-ब्याह का सीजन थमने के बाद सोने और चांदी की कीमतें फिलहाल स्थिर हैं. उनका मानना है कि अगले सप्ताह से बाजार में फिर से हलचल देखी जा सकती है और कीमतों में उतार-चढ़ाव आ सकता है.
यह समय उन ग्राहकों के लिए फायदेमंद हो सकता है, जो सोने और चांदी में निवेश करने की योजना बना रहे हैं. कीमतें स्थिर होने के कारण लोग इस मौके का लाभ उठा सकते हैं.
सोने-चांदी की कीमतों पर क्या असर डालता है?
- अंतरराष्ट्रीय बाजार: सोने-चांदी की कीमतों पर वैश्विक आर्थिक हालात और डॉलर की मजबूती का सीधा असर पड़ता है.
- वेडिंग सीजन: भारत में शादियों के सीजन के दौरान सोने और चांदी की मांग बढ़ जाती है, जिससे कीमतें चढ़ती हैं.
- त्योहारों का समय: दीपावली, अक्षय तृतीया और अन्य त्योहारों पर सोने-चांदी की खरीदारी अधिक होती है, जिससे बाजार में तेजी आती है.
- सरकार के टैक्स और शुल्क: सोने-चांदी पर लगने वाले टैक्स और उत्पाद शुल्क भी कीमतों में उतार-चढ़ाव का कारण बनते हैं.
खरमास में सोने की कीमत क्यों स्थिर रहती है?
खरमास का समय हिंदू पंचांग के अनुसार शुभ कार्यों के लिए वर्जित माना जाता है. इस दौरान शादी-विवाह और अन्य मांगलिक कार्य नहीं किए जाते, जिससे सोने और चांदी की मांग में कमी आती है. यही कारण है कि इस समय सर्राफा बाजार में कीमतें स्थिर रहती हैं.