Winter School Holiday : देशभर में कड़ाके की सर्दी अपना असर दिखाने लगी है. ठंड बढ़ते ही कई राज्यों ने स्कूलों में शीतकालीन अवकाश की घोषणा कर दी है. सर्द हवाओं और गिरते तापमान को देखते हुए छात्रों की सुरक्षा के मद्देनजर ये निर्णय लिया गया है. कई राज्यों ने अवकाश की तारीखें जारी कर दी हैं, जबकि कुछ राज्यों में अभी भी आधिकारिक घोषणा का इंतजार है.
दिल्ली में 15 दिन की सर्दियों की छुट्टियाँ Winter School Holiday
दिल्ली सरकार ने सरकारी और सहायता प्राप्त स्कूलों के लिए शीतकालीन अवकाश की घोषणा कर दी है. राजधानी के स्कूल 1 जनवरी 2025 से 15 जनवरी 2025 तक बंद रहेंगे. हालांकि, मौसम की स्थिति को देखते हुए छुट्टियों की अवधि में बदलाव किया जा सकता है. ठंड के बढ़ते प्रकोप को ध्यान में रखते हुए यह फैसला छात्रों के हित में लिया गया है.
पंजाब में 24 दिसंबर से 31 दिसंबर तक छुट्टी
पंजाब सरकार ने शीतकालीन अवकाश का ऐलान करते हुए स्कूलों को 24 दिसंबर 2024 से 31 दिसंबर 2024 तक बंद रखने का फैसला किया है. हालांकि राज्य में ठंड बढ़ने की स्थिति में इन छुट्टियों को आगे भी बढ़ाया जा सकता है. इससे छात्रों को ठंड से राहत मिलेगी और उनके स्वास्थ्य की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सकेगी.
जम्मू-कश्मीर में सबसे लंबी छुट्टियाँ
जम्मू-कश्मीर में सर्दियों के मौसम और बर्फबारी के कारण सबसे लंबा शीतकालीन अवकाश घोषित किया गया है. राज्य में स्कूलों की कक्षाओं के हिसाब से छुट्टियाँ अलग-अलग निर्धारित की गई हैं:
- कक्षा 5 तक के स्कूल: 10 दिसंबर 2024 से 28 फरवरी 2025 तक बंद रहेंगे.
- कक्षा 6 से 12 तक के स्कूल: 16 दिसंबर 2024 से 28 फरवरी 2025 तक अवकाश रहेगा.
बर्फीली हवाओं और भारी ठंड के कारण राज्य सरकार ने यह निर्णय लिया है ताकि बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके.
हरियाणा, उत्तर प्रदेश, राजस्थान और बिहार में जल्द होगी घोषणा
हरियाणा, उत्तर प्रदेश, राजस्थान और बिहार जैसे राज्यों में अब तक आधिकारिक रूप से शीतकालीन अवकाश की तिथियाँ घोषित नहीं की गई हैं. हालांकि मौसम के रुख को देखते हुए ऐसा माना जा रहा है कि इन राज्यों में 25 दिसंबर 2024 से 5 जनवरी 2025 तक स्कूल बंद रखे जा सकते हैं. राज्य सरकारों द्वारा जल्द ही इन तारीखों की औपचारिक घोषणा की जाएगी.
सर्दियों की छुट्टियाँ क्यों जरूरी हैं?
सर्दियों में गिरते तापमान और सर्द हवाएँ छोटे बच्चों के स्वास्थ्य के लिए खतरनाक साबित हो सकती हैं. ठंड के चलते बीमारियाँ जैसे सर्दी-जुकाम, बुखार और निमोनिया का खतरा बढ़ जाता है. यही कारण है कि राज्य सरकारें छात्रों की सुरक्षा को प्राथमिकता देते हुए शीतकालीन अवकाश की घोषणा करती हैं.
छुट्टियों के दौरान बच्चों को आराम का मौका मिलता है और वे ठंड से बच पाते हैं. इसके अलावा यह समय परिवार के साथ बिताने और मानसिक रूप से तरोताजा होने का भी अवसर देता है.
शीतकालीन अवकाश पर राज्य सरकारों का रुख
देश के विभिन्न राज्यों की सरकारें मौसम की स्थिति के अनुसार शीतकालीन अवकाश का शेड्यूल तय करती हैं. राज्यों में सर्दी की तीव्रता को ध्यान में रखते हुए ही छुट्टियों की तिथियाँ घोषित की जाती हैं. जम्मू-कश्मीर जैसे ठंडे राज्यों में लंबी छुट्टियाँ दी जाती हैं, जबकि उत्तर भारत के अन्य राज्यों में आमतौर पर 10-15 दिनों का अवकाश रहता है.